प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 26 जून 2020 को ‘आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश रोजगार अभियान’ का शुभारंभ कर दिया है. प्रधानमंत्री मोदी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मौजूदगी में वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिए इस अभियान की शुरुआत की. इस वर्चुअल लॉन्चिंग के मौके पर राज्य सरकार के संबंधित विभागों के मंत्री भी मौजूद रहे.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अभियान को लॉन्च करने के दौरान कई मजदूरों से बातचीत भी की. इसके जरिए घरेलू उद्यमशीलता को प्रोत्साहित करना और रोगार के मौके बनाने के लिए उद्योग संगठनों के साथ भागीदारी सुनिश्चित की जाएगी. पीएम मोदी ने वर्चुअल लॉन्च के दौरान यूपी के 6 जिलों के ग्रामीणों से कॉमन सर्विस सेंटर या कृषि विज्ञान केंद्र के जरिए बातचीत की.
इस खास अभियान के तहत यूपी के 1.25 करोड़ लोगों को रोजगार मुहैया करवाया जाएगा. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने यूपी में 30 लाख से अधिक प्रवासियों की वापसी और लॉकडाउन के दौरान काम बंद होने से बेरोजगार हुए कामगारों के समायोजन के लिए अफसरों से व्यापक कार्ययोजना बनाने को कहा था. योगी सरकार ने मनरेगा, एमएसएमई, ओडीओपी, निर्माण परियोजनाओं और ग्राम्य विकास से जुड़े विभिन्न कार्यक्रमों को केंद्रित कर 1.25 करोड़ लोगों के रोजगार का रास्ता तलाशा है.
यूपी के 31 जिलों को शामिल किया गया
गरीब कल्याण रोजगार अभियान में यूपी के 31 जिलों की 32,300 ग्राम पंचायतों को शामिल किया गया है. इन जिलों में सिद्धार्थनगर, प्रयागराज, गोंडा, महराजगंज, बहराइच, बलरामपुर, जौनपुर, हरदोई, आजमगढ़, बस्ती, गोरखपुर, सुलतानपुर, कुशीनगर, संतकबीरनगर, बांदा, अम्बेडकरनगर, सीतापुर, वाराणसी, गाजीपुर, प्रतापगढ़, रायबरेली, अयोध्या, देवरिया, अमेठी, लखीमपुर खीरी, उन्नाव, श्रावस्ती, फतेहपुर, मीरजापुर, जालौन और कौशाम्बी शामिल हैं.
25 तरह के कार्यों को चिह्नित किया गया
इस अभियान के तहत 25 तरह के कार्यों को चिह्नित किया गया है, जिनमें प्रवासियों को समायोजित किया जाएगा. इसके लिए 1 दर्जन विभागों को जिम्मेदारी दी गई है. इनमें ग्राम्य विकास, पंचायती राज, सकड़ परिवहन, खनन, रेलवे, पेयजल व स्वच्छता, पर्यावरण व वन, पेट्रोलियम व नेचुरल गैस, वैकल्पिक ऊर्जा, रक्षा, टेली कम्युनिकेशन और कृषि विभाग शामिल हैं.
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संबोधन में क्या कहा?
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने संबोधन में कहा कि हमने अपने जीवन में उतार चढ़ाव देखे हैं, सामाजिक जीवन में कई तरह की कठिनाई आती हैं. किसी ने नहीं सोचा था कि पूरी दुनिया पर एक साथ इतना बड़ा संकट आएगा, ऐसा संकट जिसमें चाहकर भी लोग मदद नहीं कर पा रहे हैं.
आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश रोजगार अभियान क्या है?
आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश रोजगार अभियान 20 जून 2020 को केंद्र की तरफ से शुरू किए प्रधानमंत्री गरीब कल्याण रोजगार अभियान का हिस्सा है. अभियान में 25 तरह के सरकार के कामों में मजदूरों-कामगारों को रोज़गार दिया जाएगा. इसके लिए केंद्र सरकार ने 50,000 करोड़ रुपए का बजट रखा है.
कोविड-19 महामारी (COVID-19) के बीच देशभर में लागू लॉकडाउन के चलते उत्तर प्रदेश में 35 लाख से ज्यादा मजदूर घर वापस लौटे हैं. वर्तमान में उत्तर प्रदेश के 31 जिलों में 25,000 वापस लौटे हुए प्रवासी मजदूर हैं. मोदी सरकार की इस योजना में इन वापस लौटे हुए मजदूरों को रोजगार देने, स्थानीय बिजनेस को प्रमोट करने और औद्योगिक संस्थानों के साथ पार्टनरशिप कर रोजगार के अवसर बढ़ाने का लक्ष्य है.
आयोग का भी गठन
इस योजना को लेकर सरकार का कहना है कि इन मजदूरों के लिए उनके गृह राज्य और घर के आस-पास ही रोजगार उपलब्ध कराने के लिए युद्धस्तर पर काम किया जा रहा है. मजदूरों की हितों की सुरक्षा के लिए एक आयोग का भी गठन किया गया है.
गरीब कल्याण रोजगार अभियान
गरीब कल्याण रोजगार अभियान हाल ही में 20 जून 2020 को प्रधानमंत्री मोदी द्वारा शुरू किया गया है. यह योजना छह राज्यों में शुरू की गई है और इसका मुख्य उद्देश्य ग्रामीण भारत में आजीविका के अवसरों को बढ़ावा देना है, विशेष रूप से उन प्रवासियों और ग्रामीण नागरिकों के लिए जो अपने राज्यों में लौट रहे हैं.